छठ पूजा: जय छठी मैया (Chhath Puja: Jai Chhathi Maiya)

सबे वरत करत,
ऐ धनी तुहूं कर,
मर जनी मन आशो,
भाऊजी कोशी भर,
रुका देवारू दौरा सरिया लि,
की चला भाऊजी हाली हाली,
सुरुज देखहिहें लाली,
की चल धनी हाली हाली,
सुरुज देखहिहें लाली।पेन्ही ला पियारिया,
बनही ला पगड़िया,
दौरा सजल बा कर,
चला के तैयरिया,
उखिया तू लैला हाथे,
तुहूं चला साथे-साथे,
तेवारी के भीड़ ना ता,
बढ़ जायी छठी घाटे,
ठीक रौआ कह तानी,
हय धरी ना लोटा के पानी,
दीयरी ना बूते घिवा डाली,
की चला भाऊजी हाली हाली,
सुरुज देखहिहें लाली,
की चल धनी हाली हाली,
सुरुज देखहिहें लाली।

लेई ला अरग हाथे,
लावा ध्यान्वा,
पाके दर्शन,
प्रशन होई मनवा,
छठी के वरतिया,
भईल सफल हो,
हर साल पर्व करब,
अरे सुरज मल हो,
धन हम भैनी जी,
पूजा राउर कैनी जी,
हथवा में लेके आरती के थाली,
की चला भाऊजी हाली हाली,
सुरुज देखहिहें लाली,
की चल धनी हाली हाली,
सुरुज देखहिहें लाली।